Bandwidth kya hai – बैंडविड्थ और स्पीड में क्या अंतर है – पूरी जानकारी हिंदी में 2022

हमे से कई लोग नहीं जानते है की यह Bandwidth होता क्या है  इंटरनेट हमारे लाइफ का एक ऐसा जरुरी हिस्सा बन गया  है जैसे सोना जागना और खाना पीना आज हमे अपनी छोटी से छोटी जरुरत को पूरा करने के लिए हमे इंटरनेट की जरुरत पड़ती है इंटरनेट एक बहोत बड़ा इलेक्ट्रॉनिक जाल है जो की wired और wireless दोनों तरह का होता है दोनों ही स्थितिओ में इंटरनेट का इस्तेमाल करते हुए हम कई बार हम एक शब्द को सुनते है जो है Bandwidth .

तो आज हम इस पोस्ट में इसी के बारे में जानेंगे की Bandwidth किसे कहते है  यह कैसे काम करता है और इसको कैसे और क्यों मापा जाता है  इसका इस्तेमाल कहा और कैसे किया जाता है –

 

BANDWIDTH क्या है ? 

 

Bandwidth kya hai – बैंडविड्थ क्या है 

 

एक निश्चित समय में कितना डाटा एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुंचाया गया है इसे मापने की विधि को Bandwidth कहते है।  आमतैर पर Bandwidth को  बाइट्रेट के रूप में व्यक्त किया जाता है और इसे Bets/sec में मापा जाता है। Bandwidth शब्द किसी कनेक्शन की संचरण छमता अर्थात ट्रांसमिशन कैपसिटी  को व्यक्त करता है। जब इंटरनेट कनेक्शन की गुणमत्ता और गति की बात आती है तो यह एक महत्वपूर्ण कारक है।

 

Bandwidth का कहा – कहा और किस – किस रूप में इस्तेमाल किया जाता है ?

 

कंप्यूटर में इंटरनेट के अलावा कई अन्य तकनीकी छेत्र में Bandwidth का प्रयोग किया जाता है।  उदाहरण के लिए सिग्नल , प्रोसेसिंग के छेत्र में इसका इस्तेमाल , ट्रांसमिशन के ऊपरी और निचले आवर्तों फ्रीक्वेंसी के बिच के अंतर को बताने के लिए होता है। यह ट्रांसमिशन रेडिओ को भी हो सकता है आमतौर पर ऐसी स्तिथि में इसे हर्ट से नापा जाता है पाइप से बहने वाले पानी को मापने के संदर्भ में भी Bandwidth का प्रयोग होता है।

ऐसे स्थिति में / sec के जगह Gallons / minute की दर से इसे मापा जा सकता है जैसा की हम ने ऊपर बताया  Bandwidth को मूल रूप से Bits  / sec में मापा जाता है और इसे BPS के रूप में वक्त किया जाता है हलाकि आज कल Bandwidth को वक्त कर पाना बहुत ही आसान हो गया है आज कल Network  बहोत अधिक Bandwidth CAPCITY वाले होते है और इनको छोटे इकाई का उपयोग कर के आसानी से वक्त किया जा सकता है।

अब मैट्रिक्स के ऐसे बड़े नंबर को देखना आम हो गया है जैसे की MBPS MEGABITS PER SECOND GBPS GIGABITS PER SECOND या TBPS TERABYTES PER SECOND के रूप में होते है और TERABYTES के बाद PETABIT , EXHIBIT , ZEITABIT और YOTABIT आते है जिसमे प्रत्येक 10  के अतिरिक्त पावर का प्रतिनिक्त करते है।

 

Internet Bandwidth को मापने की इकाई क्या है –

 

BANDWIDTH की मापने के कई अलग अलग तरीक़े है आमतौर पर Bandwidth को मापने के लिए software या Filmware और एक नेटवर्क interface का उपयोग किया जाता है उदाहरण के लिए सामान्य बैंडविड्थ मापने में TTCP और PRTG नेटवर्क Monitor टेस्ट का उपयोग शामिल है TTCP दो होस्ट sender और Receiver के बीच IP नेटवर्क प्रभाव छमता को मापता है अर्थात दोनो नेटवर्क के बीच कितनी गति से सम्पर्क हो रहा है इसको मापता है दोनों होस्ट एक तरफ की यात्रा करने में लगे  bits संख्या और कुल समय को प्रदर्शित करते है ।

 

BANDWIDTH

 

PRTG का उपयोग लम्बे अंतराल को मापने के लिए किया जाता है यह graphicly interface और charts के जरिये बैंडविड्थ  को दर्शाता है साथ ही विभिन्न इंटरफ़ेस के बीच के ट्रैफिक को भी मापता है । आमतौर पर बैंडविड्थ  को मापने के लिए एक विशिष्ठ अवधि के दौरान भेजे गए और प्राप्त किये गए ट्रैफिक की कुल मात्रा को गिना जाता हैं। परिणाम स्वरूप इसे per SEC  माप संख्या के रूप में वक़्त किया जाता है।

Bandwidth को मापने का एक अन्य तरीका यह है कि निश्चित साइज की कुछ फाइल्स को Transfer किया जाए और देखा  जाए कि Transfer में कुल कितना समय लग रहा है इसके बाद परिणाम को BPS में परिवर्तित किया जाता है जिसके लिए फाइल्स की साइज को TOTAL लगे समय से भाग दिया जाता है अधिकतर कंप्यूटर में इंटरनेट स्पीड टेस्ट करने के लिए इसी विधि का प्रयोग किया जाता है ।

 

Bandwidth काम कैसे करता है ?

 

Tele communication सेंटर को Bandwidth को कहा कहा और किस application में इस्तेमाल होना है और उसके लिए कितना Bandwidth लगेगा इसका पता लगाना होता है इसके लिए दो तरीके है-

1. पहले तो वह पता लगाती है कि कितना Bandwidth network उपलब्ध है इसे bits / sec में ही वक्त किया जाता है ।

2. अब एक application को अवसत कितने Bandwidth की जरूरत है यह तय किया जाता है Bandwidth network जितना बड़ा होगा उससे एक बार उसमे अधिक डेटा ट्रांसफर कर सकते है । Bandwidth काम कैसे करता है इसका अंदाजा इस उदाहरण से लगाया जा सकता है कि एक पानी का पाइप जितना बड़ा होगा उसमे से उतना ही अधिक पानी बह सकेगा । बैंडविड्थ  इसी सिद्धान्त पर काम करता है कि नेटवर्क का जितना बड़ा communication लिंक होगा वह एक sec में उतना डेटा ट्रांसफर कर सकेगी ।

 

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Bandwidth और Speed में क्या अंतर है ?

Bandwidth और speed में कई बार कंफ्यूज हो जाता है बैंडविड्थ  से मतलब है कि कितनी information आप ने एक sec में पाई है जबकि स्पीड का मतलब की कितनी तेज गति से इस इन्फॉर्मेशन को डाऊनलोड या प्राप्त किया गया है हम इसे एक उदाहरण से समझते है

मान लीजिए हमे पानी से एक बाल्टी भरनी है इसे भरने के लिए हम चौड़े मुह वाले नल का प्रयोग करते है तो बाल्टी जल्दी भरेगी बजाय पतले नल के इसमे बैंडविड्थ  को आप पानी समझ लीजिए और जिस गति से पानी बाल्टी में जा रहा है उसे स्पीड समझ लीजिए Bandwidth speed की इस  Confusion को दूर करने के लिए स्पीड को Network speed कहा जाता है ना कि Bandwidth speed

 

Bandwidth को क्यो मापा जाता है ?

कई कारणों से बैंडविड्थ  को मापने की जरूरत होती है मानलीजिए आप ने इंटरनेट connection किसी कंपनी से खरीदा है और अब आप यह जांचना होता है कि जितनी इंटरनेट स्पीड का वादा हमे किया गया था वह पूरा भी हो रहा है या नही तब हमें बैंडविड्थ  को मापने की जरूरत पड़ती है online बैंडविड्थ  test के लिए  DSL रिपोट्स स्पीड टेस्ट का उपयोग किया जाता है यह देखने के लिए की कंपनी ने जिस 40MPS का वादा किया है और जिसके लिए उन्होंने रुपया लिया है वह पूरा भी हो रहा है या नही।

 

Bandwidth प्रबंधन की जरूरत क्यों है ? 

दूर संचार कंपनी द्वारा सबसे अधिक बैंडविड्थ खरीदी जाती है अधिकांश बैंडविड्थ  को up to कह कर बेचा जाता है जैसे up to 40 mb/ sec जिसका मतलब है कि ग्राहक को 40 mb/sec की speed मिल सकती है लेकिन connection का उपयोग करते समय हमेशा यही स्पीड रहे यह जरूरी नही अलग अलग समय पर या अलग अलग परिस्थितियो में स्पीड ज्यादा या कम हो सकता है।

 

Bandwidth connection लेने के क्या क्या तरीके है ?

 

Bandwidth जो कि communication का बड़ा साधन है उसको आमतौर पर महीने के हिसाब से बेचा जाता है subscriber महीने के हिसाब से अपना प्लान चुनता है हालांकि लोग अपने जरूरत के हिसाब से ज्यादा बैंडविड्थ  लेने के लिए इसे अलग से भी खरीदते है।

ऐसे बैंडविड्थ  को Bandwidth on Demand कहा जाता है लोग अपने जरूरतो के हिसाब से इसे  एक्स्ट्रा खरीदते है बैंडविड्थ  ON demand एक ऐसा तरीका है जिसे आप किसी भी बाधा के बिना काम कर सकते है ।

Internet पर खूब ट्रैफिक होने के बाद में भी Bandwidth on demand का प्रयोग ज्यादातर wide area network WAN में किया जाता है ताकि किसी जरूरत मौके पर बैंडविड्थ  की छमता बढ़ाई जा सके इस तरीके का इस्तेमाल कर के एक COMMUNICATION नेटवर्क पर बैंडविड्थ  की छमता बढ़ाई जा सकती है और SUBSCRIBER बस उतने का ही भुगतान करता है जितना उसने इस्तेमाल किया है ज्यादातर SERVICE PROVIDER इस सुविधा को अपने उपभोक्ता को देते है वह जो नेटवर्क लिंक SUBSCRIBER को देते है उसमे एक्स्ट्रा बैंडविड्थ  का ऑप्शन होता है ।

Customer जितना बैंडविड्थ  इस्तेमाल करता है वह उतने ही रुपये देता है उदाहरण के लिए किसी ने 100mbps का connection लिया लेकिन उस connection में 1GB इस्तेमाल करने की छमता होती है कस्टमर चाहे तो 100MBPS से अधिक इस्तेमाल कर सकता है कई बार सर्विस प्रोवाइडर एक्स्ट्रा बैंडविड्थ  बिना किसी चार्ज के भी दे देता है।

निष्कर्ष

आशा है कि आप को इस पोस्ट से Bandwidth होता क्या है ? और BANDWIDTH का कहा – कहा और किस – किस रूप में इस्तेमाल किया जाता है ? इससे जुड़ी सारी जानकारी मिल गई होगी मेरी हमेशा से यही कोशिश रहती है कि हमारी आर्टिकल के जरिए आपको दिए गए विषय पर पूरी जानकारी प्राप्त हो सके।

ताकि आपको कहीं और जाना ना पड़े इस आर्टिकल से जुड़ी अगर कोई भी परेशानी हो तो आप हमें कमेंट में जरूर बताएं जिससे हम आपके परेशानी को जल्द से जल्द दूर करने की कोशिश करेंगे।

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RAHUL

नमस्कार दोस्तो मेरा नाम राहुल विश्वकर्मा है , और मै इस ब्लॉग का फाउंडर हूँ । मैं अभी कंप्यूटर साइंस से डिप्लोमा कर रहा हूँ , मुझे टेक्नोलॉजी से संबंधित जानकारी शेयर करना बेहद पसंद है । अगर आप टेक्नोलॉजी , कंप्यूटर , इंटरनेट और ऑनलाइन पैसे कैसे कमाये से सम्बंधित विषय मे रुचि रखते है , तो यह ब्लॉग आप के लिए ही बनाया गया है ।

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